किसान आंदोलन को लेकर सरकार चिंता में - Khabri Guru

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किसान आंदोलन को लेकर सरकार चिंता में


दिल्ली/ 
 केंद्र सरकार के कृषि कानून के विरोध में किसानों के आंदोलन ने सरकार को चिंता में डाल दिया है। किसानों का 10 दिन से यह आंदोलन जारी है और भारी तादाद में किसान दिल्‍ली बॉर्डर पर बैठे हैं। मसले को सुलझाने के लिए किसानों और सरकार के प्रतिनिधियों की 2 बजे बैठक होगी, लेकिन इससे पहले प्रधानमंत्री आवास पर एक बैठक हुई। इस बैठक में पीएम मोदी के अलावा गृहमंत्री अमित शाह, राजनाथ सिंह, नरेन्द्र सिंह तोमर, पीयूष गोयल मौजूद थे, जोकि करीब डेढ़ घंटे चली। दिल्ली-बॉर्डर के आसपास डेरा डाले हजारों किसान कृषि कानूनों को खत्‍म करने पर जोर दे रहे हैं। न्यूनतम समर्थन मूल्य या एमएसपी पर केंद्र से बार-बार आश्वासन के बावजूद इस सप्ताह दो दौर की बातचीत हुई। कोरोना वायरस महामारी के बीच दिल्ली की सीमाओं पर वर्षों में यह सबसे बड़ा किसान विरोध प्रदर्शन है और किसानों की संख्या लगातार बढ़ रही है।

सूत्रों के मुताबिक, पीएम मोदी ने अपने घर पर इस तरह की पहली बैठक में विवादास्पद कानूनों में बदलाव के बारे में जानकारी ली। आज की वार्ता (एक हफ्ते में तीसरा) दोपहर 2 बजे दिल्ली के विज्ञान भवन में होगी, जहां कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर और केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल मौजूद रहेंगे। किसानों एमएसपी पर लिखित आश्वासन की मांग कर रहे हैं। उनका आरोप है कि नए कृषि कानून में उन्हें कॉर्पोरेट्स की दया पर छोड़ दिया गया है।
इसके अलावा मंगलवार (8 दिसंबर) को प्रदर्शनकारी किसानों द्वारा देशव्यापी बंद बुलाया गया है। कल शाम, 40 किसान संघ दिल्ली-हरियाणा बॉर्डर पर मिले। उन्होंने कहा कि वे राष्ट्रीय राजधानी के लिए सभी सड़कों को अवरुद्ध करेंगे और देश भर के सभी राजमार्ग टोल पर कब्जा करेंगे। सरकार ने नए कानूनों का बचाव किया है और कहा है कि वे केवल किसानों को निजी खरीददारों को बेचने का विकल्प देते हैं।
इन विरोध प्रदर्शनों के दौरान कम से कम तीन किसानों की मौत हो गई है। पंजाब सरकार ने गुरुवार को केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के दौरान मारे गए दो किसानों के परिवारों को 5 लाख की वित्तीय सहायता देने की घोषणा की। उच्चतम न्यायालय में दायर एक याचिका में शुक्रवार को केंद्र के विवादास्पद नागरिकता कानून के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे प्रदर्शनकारी किसानों को तत्काल हटाने या जगह को ट्रांसफर करने की मांग की गई। याचिका में कहा गया है, "दिल्ली बॉर्डर पर विरोध प्रदर्शन कर रहे लाखों लोगों का जीवन तत्काल खतरे में है। अगर संयोग से यह कोरोना वायरस बीमारी समुदाय में फैलती है, तो इससे देश में तबाही मच जाएगी।"

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