पं. भगवतीधर वाजपेयी ब्रह्मलीन, विनम्र श्रद्धांजलि - Khabri Guru

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पं. भगवतीधर वाजपेयी ब्रह्मलीन, विनम्र श्रद्धांजलि


जबलपुर। देश के वरिष्ठ पत्रकार पं.भगवतीधर वाजपेयी आज गुरुवार प्रातः ब्रह्मलीन हो गए। वे 96 वर्ष के थे। उन्होंने 1952 में लखनऊ से पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और पं.दीनदयाल उपाध्याय के साथ पत्रकारिता प्रारम्भ की। तदुपरांत दिल्ली और नागपुर होते हुए वे 1956 में दैनिक युगधर्म के संस्थापक सम्पादक बनकर आये और यहीं उनकी कर्मभूमि बन गई। उसके नागपुर, रायपुर संस्करण के वे प्रधान संपादक भी रहे।

चार दशक की पत्रकारिता के दौरान उनके मार्गदर्शन में सैकड़ों पत्रकार प्रशिक्षित होकर देश विदेश में कार्यरत हैं। पं.वाजपेयी अपने आप में एक संस्था थे। सार्वजनिक जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में उन्होंने अपनी गरिमामय छाप छोड़ी। वे आरएसएस से बाल्यकाल से जुड़े और जीवनपर्यंत स्वयंसेवक रहे। 1967, 70 और 72 में मध्य विधानसभा से जनसंघ की ओर से चुनाव भी उनने लड़े। भाजपा नगर अध्यक्ष के तौर पर उनका कार्यकाल पार्टी का स्वर्ण युग माना जाता है। वे जिला पत्रकार संघ के अध्यक्ष सहित महाकोषल चेम्बर आफ कामर्स, रानी दुर्गावती विवि में लम्बे समय तक उनकी सक्रियता रही। यहां पर वे बतौर कुलसंसद सदस्य सक्रिय रहे। क्षेत्रीय श्रम कल्याण बोर्ड, नागरिक सहकारी बैंक जैसी अनेक संस्थाओं के वे अध्यक्ष रहे। साथ ही धार्मिक क्षेत्र की प्रमुख संस्था सनातन धर्म महासभा के वे वरिष्ठ सदस्यों में थे।

1968 में अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव का अवलोकन करने वे 2 माह वहाँ रहे। इस दौरान उन्होंने ब्रिटेन, कैनेड और जापान की यात्रा भी की। देश के दिग्गज नेताओं से निजी सम्बन्धों के बाद भी पं.वाजपेयी ने उनका कभी दोहन नहीं किया। समूचा जीवन निष्कलंक उन्होंने जिया और अपने सिद्धान्तों से समझौता नहीं किया। गीता और रामायण उनके प्रिय ग्रंथ थे। इस आयु में भी पठन-पाठन उनने नहीं छोड़ा। निजी जीवन में बेहद अनुशासित और आत्मनिर्भरता उनका छल, छद्म और विद्वेष से पूरी तरह मुक्त उनका व्यक्तित्व उन्हें सर्वप्रिय बना देता था। उनके विरोधी भी उनका सम्मान करने में संकोच नहीं करते थे।

वे अपने पीछे धर्मपत्नी  श्रीमती उर्मिला वाजपेयी. पुत्र रवीन्द्र वाजपेयी (सम्पादक, हिंदी एक्सप्रेस) एवं अविनाश वाजपेयी (डायरेक्टर तकनीकी, टेस्को) पुत्रवधु नीरजा एवं प्रीति सहित पौत्र, पोत्रियों सहित बडा छोड़कर गए हैं। पं.वाजपेयी का अंतिम संस्कार रानीताल मोक्षधाम में संपन्न हुआ। जिसमें उपस्थितजनों ने उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की।

खबरी गुरु परिवार की ओर से उनके श्रीचरणों में विनम्र श्रद्धांजलि।

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